सांस्कृतिक नगरी: यहां की महिलाओं के नाम नया रिकॉर्ड, पहली बार महिलाओं ने किया ये काम…..

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अल्मोड़ा: सांस्कृतिक नगरी अल्मोड़ा की महिलाओं ने नया रिकॉर्ड अपने नाम किया है। देश विदेश में फेमस यहां रामलीला में यह रिकॉर्ड बना। पहली बार अल्मोड़ा में महिलाओं की रामलीला शुरू हुई। इसमें सभी पात्र महिलाएं शामिल रही। महिलाओं के अभिनय की लोगों ने खूब तारीफ भी की। शनिवार को श्री भुवनेश्वर महादेव रामलीला समिति कर्नाटक खोला महिलाओं की रामलीला शुरू हुई।पहले दिन महिला रामलीला में रावण अत्याचार, देवगणों की भगवान बृह्मा और विष्णु की स्तुति, राम-सीता जन्म, ताड़का एवं सुबाहु वध, मारीच उद्घार, धनुष यज्ञ, सीता स्वयंवर, परशुराम-लक्ष्मण संवाद, मंथरा-कैकेयी संवाद, दशरथ-कैकेयी संवाद और राम वनवास का मंचन किया गया। लंकेश रावण की भूमिका में डा. विद्या कर्नाटक, ताड़का – हर्षिता तिवारी , मारीच – रेखा जोशी , सुबाहु – सुनीता बगड़वाल , राम – दिव्या पाटनी , लक्ष्मण – किरन कोरंगा , सीता – वैभवी कर्नाटक, परशुराम – भावना मल्होत्रा , जनक – रीता पान्डे , विश्वामित्र – मीना भट्ट, कैकयी – लवी जोशी , मंथरा – मीनाक्षी जोशी , देवगण – सीमा कर्नाटक, सीता रावत , वन्दना जोशी,मंजू गौड़,पूनम कर्नाटक,कंचन पाण्डे, पूजा बगडवाल,आशा मेहता, मिनाक्षी जोशी आदि ने अपने मनमोहक अभिनय से सभी का मन मोह लिया। समिति के संस्थापक एवं संरक्षक पूर्व दर्जा मंत्री बिट्टू कर्नाटक ने कहा कि महिलाओं की इस रामलीला के प्रारंभ होते ही 190 से अधिक वर्ष पुरानी इन ऐतिहासिक कुमाउनी शैली की रामलीलाओं के इतिहास में एक नया अध्याय जुड़ गया है। जिसके लिये उन्होंने मंचन से जुड़ी समस्त महिलाओं तथा समिति के इस कालजयी प्रयास के लिये सभी सदस्यों , कलाकारों एवं कार्यकर्ताओं को बधाई दी।

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